- कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय में कमियां मिलने पर डीएम मोनिका रानी ने की सख्त कार्रवाई, बीएसए समेत 4 अधिकारियों का वेतन रोका
- वार्डन और जिला समन्वयक को हटाने के निर्देश
बहराइच। बुधवार को जिलाधिकारी मोनिका रानी ने तेजवापुर स्थित कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय का औचक निरीक्षण किया, जिसमें बड़ी खामियां सामने आईं। इससे डीएम नाराज हो गईं और तत्काल बीएसए, खंड शिक्षा अधिकारी समेत चार अधिकारियों का वेतन रोकने के आदेश दिए। साथ ही वार्डन और जिला समन्वयक बालिका को तुरंत हटाने के निर्देश दिए हैं।
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निरीक्षण के दौरान मिली खामियां:
1. विद्यालय में खिड़की-दरवाजों की मरम्मत नहीं थी और खिड़की की जाली टूटी हुई पाई गई।
2. सुरक्षा के लिए लगे सीसीटीवी से पूरी स्कूल की निगरानी नहीं हो रही थी।
3. बाथरूम में पानी की आपूर्ति सही नहीं थी।
4. विद्यालय परिसर और भवन की सफाई भी संतोषजनक नहीं मिली।
डीएम मोनिका रानी ने इस लापरवाही के लिए जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी और खंड शिक्षा अधिकारी का वेतन रोकने का आदेश दिया। इसके साथ ही उच्च स्तरीय जांच की भी सिफारिश की।
अन्य कमियां:
निरीक्षण के दौरान, छात्राओं के लिए यूनिफॉर्म की राशि अब तक नहीं भेजी गई थी, जिससे कुछ छात्राएं बिना यूनिफॉर्म के मिलीं। इस देरी के लिए डीएम ने लेखाकार और कंप्यूटर ऑपरेटर का वेतन भी रोकने के आदेश दिए।
कक्षा 7 की कॉपियों की जांच में, अंग्रेजी, गणित और विज्ञान की कॉपियां बिना जांच के मिलीं। अंग्रेजी की कॉपियों में कई स्पेलिंग गलत थीं, जिस पर डीएम ने शिक्षण कार्य में लापरवाही को गंभीरता से लेते हुए आगे सुधार के निर्देश दिए। साथ ही शिक्षक नवीनीकरण प्रक्रिया के दौरान ध्यान से नवीनीकरण करने को कहा।
विद्यालय की व्यवस्थाओं में खामियों के चलते वार्डन और जिला समन्वयक बालिका को हटाने के निर्देश दिए गए हैं। D.M ने रसोई, स्टोर और छात्रावास का भी निरीक्षण किया और बच्चियों के लिए उपलब्ध सुविधाओं की जानकारी लेते हुए आवश्यक दिशा निर्देश भी दिए।